जिले में हो रही वन्य प्राणियों की मौत, अधिकारी सवालों के घेरे में

बलौदाबाजार । बलौदाबाजार जिले के उपवनमंडल कसडोल क्षेत्र में वन्य प्राणी सुरक्षित नहीं है। यहां लगातार वन्य प्राणियों की मौत का मामला सामने आ रहा है। वहीं बीते दिन एक नील गाय की मौत का मामला सामने आया है। वन परिक्षेत्र बार नयापारा अभ्यारण के रामपुर कक्ष क्रमांक 127 में बीते रात्रि वन्यप्राणी नील गाय की फेसिंग तार में फंस कर मौत हो गई। बलौदाबाजार जिले के वनपरिक्षेत्र अधिकारी वन्य जीवों की सुरक्षा नहीं कर पा रहे हैं साथ में उपवनमंडल के एसडीओ और डीएफओ बेलगाम रेंजरों पर लगाम नहीं लगा पा रहे हैं।

45 दिन की गर्भवती तेंदुआ की उत्तर सिंगपुर वन परिक्षेत्र में मौत, पोस्टमार्टम से पता चला………

 

अधिकारियों की कार्यप्रणाली पर उठ रहे सवाल

बता दें कि  कसडोल उपवनमंडल के वनपरिक्षेत्रों में तीन माह से वन्य प्राणियों की मौत का सिलसिला शुरू हुआ जो अब तक चल रहा है।

वनपरिक्षेत्र देवपुर में पहले करंट की चपेट में आने से एक नर हाथी की मौत हुआ, उसके बाद वन परिक्षेत्र लवन में दो तेंदुवा की मौत फिर सोनाखान में बायसन की मौत और आज संवेदनशील रिज्वर्व फॉरेस्ट में नील गाय की मौत होना वनपरिक्षेत्र अधिकारियों की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े करते हैं।

सूत्रों का कहना है कि बार नयापारा से रामपुर महज 6 किलोमीटर की दूरी पर है, अगर वन अमला रात्रि में गश्त करते तो शायद नील गाय को बचाया जा सकता था।

क्योंकि सड़क किनारे लगे फेसिंग तार में नील गाय की पैर फंसने के कारण उसकी मौत हो गई है।

इससे साफ जाहिर होता है फारेस्ट रेंजर केवल दफ्तर में बैठे रहते हैं और न दिन में न रात में गश्त पर जाते हैं,  जिसकी वजह से वन्य प्राणियों की मौत हो रही है।

जिसको जंगल की सुरक्षा करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है। आज उनकी लापरवाही के चलते बेजुबान वन्य प्राणियों की मौत हो रही हैं।

रेंजर केवल जंगल को तहस नहस कर पैसा कमाने में लगे हैं और तभी ऐसे रेंजरों पर डीएफओ मेहरबान है।

वहीं जब हमने जिम्मेदार अधिकारियों से सम्पर्क किया तो मैं अधिकृत नही हु कहकर अपना पल्ला झाड़ लिया ।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *